दूसरों को करते हैं ठीक, लेकिन खुद पर नहीं हुआ असर

Tuesday, 25 September 2012


रायपुर। मानवाधिकार आयोग की दबिश के दौरान गैरहाजिर मिले जिला अस्पताल के 32 डॉक्टरों को सिविल सर्जन डॉ. बीके दास ने नोटिस थमाया था। इसके बावजूद कुछ डॉक्टर ही समय पर अस्पताल पहुंच रहे हैं।
मानवाधिकार आयोग की टीम ने पिछले मंगलवार को सुबह 9.30 बजे जिला अस्पताल में दबिश दी थी।
इस दौरान 34 में केवल दो डॉक्टर मौजूद थे। गैरहाजिर रहने वाले सभी डॉक्टरों को सीएस डॉ. दास ने बुधवार को नोटिस थमा दिया था।
नोटिस में डॉक्टरों से नियमित ड्यूटी पर आने को कहा गया था। राजधानी के पंडरी स्थित जिला अस्पताल बदहाल है। आयोग को 25 बिस्तरों वाले अस्पताल में केवल 10 मरीज भर्ती मिले। इससे सवाल उठता है कि अव्यवस्था के कारण मरीज यहां भर्ती होना ही नहीं चाहते।
दूसरी ओर प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल आंबेडकर के कई वार्डों में मरीजों के लिए बेड कम पड़ रहे हैं। सामान्य सर्दी खांसी व बुखार के मरीज भी जिला अस्पताल जाने के बजाय आंबेडकर अस्पताल जाना पसंद करते हैं। डॉ. दास का कहना है कि नई बिल्डिंग बनने के बाद सुविधाएं बढ़ जाएंगी। इससे मरीज यहां इलाज कराने आएंगे।
Source: Dainik Bhaskar

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